108वीं भारतीय विज्ञान कांग्रेस
का उद्घाटन पीएम मोदी ने किया
चर्चा में क्यों
प्रधानमंत्री
नरेंद्र मोदी ने 03 जनवरी 2023 को 108वीं भारतीय विज्ञान कांग्रेस का उद्घाटन किया।
इस कार्यक्रम को वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि
अगले 25 वर्षों में भारत जिस ऊंचाई पर होगा, उसमें भारत की वैज्ञानिक शक्ति की भूमिका
बहुत महत्वपूर्ण होगी। विज्ञान में जुनून के साथ जब देश की सेवा का संकल्प जुड़ जाता
है, तो नतीजे भी अभूतपूर्ण आते हैं। उन्होंने कहा कि भारत की 21वीं सदी में हमारे पास
डेटा और तकनीकी बहुतायत में है। यह भारत के विज्ञान को नई ऊंचाईयों तक पहुंचा सकता
है।
महत्वपूर्ण बिंदु
भारतीय
विज्ञान कांग्रेस (ISC) का पिछला संस्करण जनवरी 2020 में बेंगलुरु में हुआ था। तो वहीं
यदि इसके पहले सत्र की बात करें तो आईएससी का पहला सत्र 1914 में आयोजित किया गया था।
108वीं
भारतीय विज्ञान कांग्रेस सत्र में ‘आदिवासी विज्ञान कांग्रेस’ भी शामिल किया गया है,
जो आदिवासी महिलाओं के सशक्तिकरण पर ध्यान केंद्रित करती है। इसके साथ ही स्वदेशी प्राचीन
ज्ञान प्रणालियों और अभ्यास के वैज्ञानिक प्रदर्शन के लिए भी एक मंच प्रदान किया गया
है।
108वीं
भारतीय विज्ञान कांग्रेस सत्र में अंतरिक्ष, रक्षा, आईटी और चिकित्सा अनुसंधान सहित
विभिन्न प्रकार के क्षेत्रों के नोबेल पुरस्कार विजेता, प्रमुख भारतीय और विदेशी शोधकर्ता,
विशेषज्ञ और टेक्नोक्रेट शामिल हुए हैं। विज्ञान और प्रौद्योगिकी में महिलाओं के योगदान
को दिखाने के लिए एक विशेष कार्यक्रम का भी आयोजन किया गया है।
विज्ञान
के क्षेत्र में भारत दुनिया के शीर्ष 10 देशों में अपना स्थान रखता है। पीएम मोदी ने
कहा कि 2015 तक 130 देशों की ग्लोबल इनोवेशन इंडेक्स में भारत 81वें स्थान पर था और
2022 में हम 40वें स्थान पर पहुंच गए हैं। पीएचडी और स्टार्टअप इकोसिस्टम में भारत
शीर्ष तीन देशों में शामिल है।
पीएम
मोदी ने कहा कि इस बार भारतीय विज्ञान कांग्रेस की थीम भी एक ऐसा विषय है, जिसकी दुनिया
में सबसे ज्यादा चर्चा हो रही है। उन्होंने कहा कि विश्व का भविष्य सस्टेनेबल डेवलमेंट
के साथ ही सुरक्षित है और आपने सस्टेनेबल डेवलमेंट के विषय को नारी सशक्तिकरण के साथ
जोड़ा है। उन्होंने कहा कि व्यवहारिक रूप से भी ये दोनों एक-दूसरे जुड़े हुए हैं। आज
महिलाओं की भागीदारी से समाज और विज्ञान आगे बढ़ रहे हैं।