चर्चा में क्यों
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विदेश मंत्रालय ने मंगलवार को एक प्रेस रिलीज़ जारी कर कहा है कि भारत 1 दिसंबर, 2022 से 30 नवंबर, 2023 तक एक वर्ष के लिए G20 की अध्यक्षता ग्रहण करेगा। और साथ ही "यह पहली बार होगा जब इस समिट में तीन विकासशील देश और उभरती अर्थव्यवस्थाएं शामिल होंगी|
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भारत देश भर में 200 से अधिक बैठकों की मेजबानी भी करेगा। 'अगला G20 शिखर सम्मेलन 9 सितंबर और 10 सितंबर 2023 को नई दिल्ली में आयोजित होगा।
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G20
की अध्यक्षता हर साल सदस्य देशों के बीच बदलती रहती है।
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राष्ट्रपति पद धारण करने वाला देश, पिछले और अगले राष्ट्रपति-धारक के साथ मिलकर 'ट्रोइका' का निर्माण करता है।
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G20
साथ ही दुनिया की प्रमुख विकसित और विकासशील अर्थव्यवस्थाओं का एक अंतर-सरकारी मंच है।
महत्वपूर्ण बिन्दु
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वर्तमान में भारत जी20 ट्रोइका (Troika) में शामिल है। ट्रोइका के तीन देशों में शामिल है इंडोनेशिया, इटली और साथ ही भारत भी है।
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भारत की अध्यक्षता के दौरान, भारत, इंडोनेशिया और ब्राजील एक नये ट्रोइका का निर्माण करेंगे।
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गौरतलब है कि सामूहिक रूप से G20 वैश्विक सकल घरेलू उत्पाद का 85%, अंतर्राष्ट्रीय व्यापार का 75% और विश्व जनसंख्या का दो-तिहाई हिस्सा होता है जो की अंतरराष्ट्रीय आर्थिक सहयोग का प्रमुख मंच बनता है|
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इस शिखर सम्मेलन में भाग लेने वाले सदस्य-राज्यों और अंतर्राष्ट्रीय संगठनों के अलावा और भी ऐसे देश है जिसे भारत अतिथि देशों के रूप में आमंत्रित करेगा| जिसमें हैं बांग्लादेश, मिस्र, मॉरीशस, नीदरलैंड, नाइजीरिया, ओमान, सिंगापुर, स्पेन और संयुक्त अरब अमीरात|
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G-20
के गठन का उद्देशय उभरती और विकासशील अर्थव्यवस्थाओं के साथ विचार विमर्श और समन्वय को बढ़ावा देने के लिए किया जाता है. जिसमें विश्व के सात प्रमुख औद्योगिक देश जो सबसे पहले जी-20 में शामिल होते है, जो की है कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान, ब्रिटेन और संयुक्त राज्य अमेरिका.
प्रमुख मुद्दे
G20 के प्रमुख मुद्दे जिन पर समिट के दौरान हो सकती है वार्ता जिसमें शामिल है -
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समावेशी न्यायसंगत और सतत विकास
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लाइफ (पर्यावरण के लिए जीवन शैली)
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महिला सशक्तीकरण
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डिजिटल बुनियादी ढांचे
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स्वास्थ्य एवं कृषि से लेकर विभिन्न क्षेत्रों में प्रौद्योगिकी-<